नीलोखेड़ी/करनाल, 07.07.25- सतत विकास के वैश्विक लक्ष्य की प्राप्ति के लिए समग्र एवं संतुलित ग्रामीण विकास पर ध्यान देना होगा। संयुक्त राष्ट्र संघ महासभा के प्रस्ताव के अनुसार प्रथम विश्व ग्रामीण विकास दिवस के उपलक्ष में आज यहां आयोजित कार्यक्रम में ग्राम विकास के क्षेत्र में कार्य कर रहे विशेषज्ञ और जिले के विभिन्न गांव से आए जनप्रतिनिधि को संबोधित करते हुए यह टिप्पणी हरियाणा ग्रामीण विकास संस्थान के निदेशक डॉ वीरेंद्र सिंह चौहान ने की। ग्रामीण विकास दिवस के उपलक्ष में आज संस्थान के परिसर में यज्ञ अनुष्ठान के अलावा ग्रामोदय गोष्ठी का आयोजन किया गया था। गोष्ठी में केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर के प्रतिनिधि एडवोकेट कविंद्र राणा विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहे।

डॉ. वीरेंद्र सिंह चौहान ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा कार्यभार संभाले जाने के बाद बीते 11 वर्षों में भारत में ग्राम विकास के क्षेत्र में जो कार्य हुए हैं उनकी कल्पना करना भी पूर्व काल में संभव नहीं था। उन्होंने दोहराया कि 'ग्रामोदय से भारत उदय' अभियान वर्तमान केंद्र सरकार के अस्तित्व में आते ही एक मूल मंत्र बन गया था। आज हमारे गांव 11 वर्ष पहले की तुलना में केवल अधिक संपन्न और समृद्ध ही नही, अपितु स्वस्थ और स्वच्छ भी हैं। इस सिलसिले को हरियाणा की वर्तमान सरकार भी तीव्र गति से मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी के नेतृत्व में आगे बढ़ा रही है।

एडवोकेट रविंद्र राणा ने इस अवसर पर कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर और मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी की ग्रामीण विकास के प्रति प्रतिबद्धता के कारण ही प्रदेश व देश में ग्रामीण अंचल की तस्वीर में आमूलचूल बदलाव आया है। कार्यक्रम में बीते 11 वर्षों में ग्रामीण विकास के क्षेत्र में हुए कार्यों पर विभिन्न वक्ताओं ने अपने अनुभव सांझा किए।

इस अवसर पर संदीप नायडू, सोहन सिंह, पवन पंडित, प्रमोद राणा, डॉ संदीप, सुरेंद्र मास्टर, मदन राणा बाहरी, जोगा सिंह, जय भगवान (मंडल अध्यक्ष), विक्रम राणा, कविंद्र राणा, मंदीप राणा, सूबे सिंह राणा, भारत भूषण सिंह, बिन्दर रोजड़ा, बलजीत सिंह आदि जनप्रतिनिधि मौजूद रहे।